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कांगड़ा: दो दिनों में आफत की बरसात, चक्की रेलवे पुल जलमग्न, सड़कें ठप, मौत की नींद सुलाई कई जिंदगियां

धर्मशाला: कांगड़ा घाटी में पिछले 2 दिन से जारी बरसात में भारी कहर बरपाया है । बरसात का आलम कुछ ऐसा था कि ब्रिटिश हुकूमत काल में चक्की खंड पर बने रेलवे ब्रिज को भी पानी का तेज बहाव बहा ले गया। जिसके चलते जिला कांगड़ा का रेलवे संपर्क टूट गया है।
बारिश की वजह से जिला में एक 9 वर्षीय बच्चे सहित दो लोगों की मौत हो गई । वहीं कई स्थानों पर भूस्खलन के कारण यातायात बाधित रहा । कई सड़क मार्गों पर वाहनों की लंबी-लंबी कतारें लगी रही। बात करें जिला मुख्यालय धर्मशाला की पठानकोट की ओर से आने वाले वाहनों के लिए धर्मशाला का संपर्क दिनभर कटा रहा। भारी बरसात में कांगड़ा घाटी में जनजीवन को खासा प्रभावित किया है। हालांकि जिला प्रशासन पूरी मुस्तैदी के साथ हर स्थिति पर नजर रखे हुए था लेकिन फिर भी बारिश ने जो जख्म दिए हैं उन्हें भर पाना मुश्किल होगा।

कांगड़ा का टूटा रेलवे संपर्क, बहाली को करना होगा लम्बा इंतजार
शनिवार की सुबह पठानकोट-जोगिंदरनगर नैरोगेज रेलवे सेक्शन पर पड़ते चक्की पड़ाव रेलवे पुल का बड़ा हिस्सा चक्की दरिया में समा गया। जिसके चलते देश के विभिन्न हिस्सों को हिमाचल से जोड़ने वाला इकलौता रेल मार्ग ठप हो चुका है। बता दें, उक्त रेल मार्ग पर फिरोजपुर रेल डिवीजन की ओर से 1 अगस्त से ट्रेनों का संचालन बंद किया गया है। रेलवे की ओर से इस रेल सेक्शन पर कई जगह हुए भूस्खलन को वजह बताया गया था। लेकिन उसके बाद हिमाचल में हुई भारी बरसात के बाद चक्की दरिया के पानी ने इस रेलवे पुल को भारी क्षति पहुंचाई थी।

जिसके बाद फिरोजपुर, जम्मू और पठानकोट के अधिकारियों ने इस रेलवे पुल का जायजा लिया था। जिसमें बताया गया था कि उक्त रेलवे पुल के पिलर नंबर 3, 4 और 5 बुरी तरह क्षतिग्रस्त हुए हैं। रेलवे ने ट्रेनों का संचालन अगले आदेशों तक बंद किया था। लेकिन, अब पुल दरिया में समा जाने के कारण अगले कई महीनों तक इस रेलखंड पर ट्रेनों का संचालन बहाल किया जाना मुमकिन दिखाई नहीं दे रहा। बता दें, इससे पहले 2011 में एक पिलर को नुकसान पहुंचा था।

जिसके बाद 8 महीने तक ट्रेनों का संचालन ठप रहा था। तब रेलवे अधिकारियों की ओर से इस पल के नव निर्माण की योजना बनाई थी। लेकिन, बाद में इस योजना को ठंडे बस्ते में डाल दिया गया और पिल्लर की मरम्मत कर ट्रेनों का संचालन बहाल कर दिया गया था। मौजूदा हालात की बात करें तो उक्त पुल के हालात को देखकर यह स्पष्ट हो रहा है कि ट्रेन के द्वारा पठानकोट से हिमाचल जाने वाले यात्रियों को अगले कई महीनों तक इंतजार करना पड़ सकता है।

9 वर्षीय बच्चे सहित दो की मौत
शाहपुर विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत गोरडा पंचायत में भारी बारिश के कारण नसीब सिंह का मकान ढह गया मकान के मलबे में दबने से नसीब सिंह के 9 वर्षीय बेटे आयुष की मौत हो गई। मलबे से निकालकर आयुष को उपचार के लिए शाहपुर अस्पताल ले जाया गया था जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। वही धीरा उपमंडल के अंतर्गत लाहड़ गांव में बारिश के कारण एक डंगा गिर गया, जिसकी चपेट में बाल मुकंद पुत्र कन्हैया लाल निवासी लाहड़ आ गया, जब उसे मलबे से निकाला गया, तब तक इसकी मौत हो गई थी, जबकि उसकी पत्नी सिंधु देवी को मामूली चोटें आई हैं।

व्यास नदी में फंसे पति और पत्नी
पुलिस थाना लम्बागांव के अंतर्गत कुजेश्वर महादेव एक जल शक्ति अधिकारी निट्ट राम पुत्र मस्त राम
अपनी पत्नी निशा देवी के साथ व्यास नदी के बीच फंस गए। सूचना मिलने पर पुलिस टीम मौका पर पहुंची।
सकोह से चैतडु मार्ग रहा बंद
बारिश के कारण धर्मशाला के सकोह से चैतडू मार्ग भी बंद रहा। इस मार्ग पर शुक्रवार को भी कई जगह भूस्खलन हुआ था, जबकि शनिवार सुबह भारी लैंड स्लाइड से यह मार्ग भी बंद रहा।
डीसी और एसपी करते रहे विजिट
जिला कांगड़ा में शुक्रवार रात से जारी मूसलाधार बारिश के कारण जिला के कई स्थानों पर नुकसान की सूचनाओं के चलते डीसी डॉक्टर निपुण जिंदल और एसपी कांगड़ा डॉक्टर खुशहाल शर्मा जिला के कई स्थानों का विजिट करते रहे। जिला अधिकारियों ने सकोह से चैतडु मार्ग, इंजीनियरिंग कॉलेज मसल और धीरा तहसील के गगल खास का दौरा किया। दोनो अधिकारी जिला भर में हर परिस्थिति पर नजर बनाए रहे।

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