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Good news: चंबा अब नहीं दूर….उतराला से होली का सफर अब सिर्फ तीन घंटे में  

बैजनाथ  पीडब्ल्यूडी को मिली 33 किलोमीटर की अंतिम फोरेस्ट क्लीयरेंस, वाया चंबा 268 किलोमीटर का सफर रह जाएगा 70 किलोमीटर 

अभी 600 रुपए किराया और 10 घंटे का लगता है समय 

सड़क बनने से 150 रुपए में हो जाएगा काम

मोनिका शर्मा, बैजनाथ

कांगड़ा और चंबा जिलों के महत्वकांक्षी प्रोजेक्ट होली-उतराला सड़क का रास्ता साफ हो गया है। इस सड़क के 33 किलोमीटर हिस्से को लेकर पीडब्ल्यूडी को अंतिम फोरेस्ट क्लीयरेंस मिल गई है। इस सड़क के बनने से होली से उतराला का सफर महज 70 किलोमीटर रह जाएगा। मौजूदा समय में उतराला से होली जाने के लिए वाया चंबा 268 किलोमीटर की दूरी तय करनी पड़ती है।

इसमें करीब 600 रुपए किराया और 10 घंटे का समय लगता है। सड़के बनने से डेढ़ सौ रुपया किराया और तीन घंटे का समय लगेगा। इस प्रोजेक्ट के बनने से चंबा और कांगड़ा में कारोबार और बढ़ेगा, वहीं धार्मिक यात्राओं समेत अन्य आयोजनों में जाना भी सुगम हो जाएगा। यह क्लीयरेंस का लंबे समय से लाखों लोग इंतजार कर रहे थे।

इसके लिए केंद्र सरकार के अंतर्गत पर्यावरण,वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय ने अब हरी झंडी दे दी है। इस बारे में बैजनाथ के विधायक मुलखराज प्रेमी ने बताया कि उत्तराला – होली सड़क निर्माण के लिये काफी मेहनत की है। उनका स्वप्न इस क्षेत्र में रह रहे लोगों को सड़क सुविधा से जोडऩा व क्षेत्र में पर्यटन का विस्तार करना रहा है।

विधायक मुलखराज प्रेमी ने कहा कि उत्तराला से सुराही पास तक सड़क निर्माण के लिए अब कोई समस्या पैदा नहीं होगी। उन्होंने इस सब के लिए केंद्र की मोदी सरकार व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर व वन मंत्री राकेश पठानिया का आभार ब्यक्त किया है,जिनके अथक प्रयासों से अब क्षेत्र में सड़क सुविधा का विस्तार होगा तथा पर्यटन को पंख लगेंगे,तथा क्षेत्र की आर्थिकी को भी बढ़ावा मिलेगा।

27 शर्तों को किया है शामिल

मंत्रालय की ओर से यह स्पष्ट किया गया है कि यह काम वन विभाग की निगरानी में होगा। इसके साथ ही मंत्रालय की ओर से इसमें 27 शर्तों को शामिल किया गया है। गौरतलब है कि भाजपा की सरकार के प्रदेश में बनते ही सीएम जयराम ठाकुर ने बैजनाथ में आयोजित जनसभा में इस मार्ग को लेकर विधायक प्राथमिकता मेंं डालने और इसके निर्माण कार्य की घोषणा की थी, जिसके बाद संबंधित विभागों की टीमों द्वारा इस मार्ग की रूपरेखा भी तैयार की जिसे वन विभाग की क्लीयरैंस को लेकर प्रदेश सरकार द्वारा इसे केंद्रीय मंत्रालय के पास भेजा गया था।

वन, खेल एवं युवा सेवाएं मंत्री राकेश पठानिया ने कहा कि इस सड़क के निर्माण से न केवल कांगड़ा और चम्बा जिला की दूरी कम होगी बल्कि आमजनमानस को भी इसका सीधा लाभ मिलेगा।

उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर के नेतृत्व वाली राज्य सरकार प्रदेश के हर क्षेत्र के समग्र विकास के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा कि धर्मशाला क्षेत्र में एफआरए के तहत अनुमति प्राप्त होने के उपरांत 43 परियोजनाओं के लोक निर्माण विभाग ने टैंडर भी लगा दिए हैं।

उन्होंने कहा कि कांगड़ा जिला में वर्ष 2019 से अब तक 80 विकासात्मक परियोजनाओं को एफआरए की अनुमति मिल चुकी है। ये सभी परियोजनाएं एफसीए और एफआरए की क्लीयरेंस न मिलने की वजह से रूकी हुई थी।

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