एक्यूरेसी पैराग्लाइडिंग
5 से 9 अप्रैल तक होने वाले एक्यूरेसी पैराग्लाइडिंग प्री-वर्ल्ड कप में रूस के पायलट हिस्सा नहीं लेंगे। प्रतियोगिता के दौरान अंतर्राष्ट्रीय मानकों को सुनिश्चित करने के लिए एफ . ए.आई., फैडरेशन ऑफ एयरोनॉटिकल और पी. डब्ल्यू. सी.ए. के अधिकृत पर्यवेक्षक प्रतियोगिता के निर्णायक और आयोजन समिति में अपनी अहम भागीदारी निभाएंगे।
बिलिंग पैराग्लाइडिंग एसोसिएशन के अध्यक्ष अनुराग शर्मा ने बताया कि प्रतियोगिता में 125 पायलट हिस्सा लेंगे जिनमें विभिन्न देशों के 102 प्रतिभागियों द्वारा पंजीकरण करवाया गया है। इसके अलावा आर्मी स्पोर्ट्स विंग के 10 पायलट प्रतियोगिता में हिस्सा लेंगे।
कोरोना काल के बाद बीड़- बिलिंग घाटी में आयोजित की जाने वाली यह पहली प्रतियोगिता होगी जिसमें अंतर्राष्ट्रीय स्तर के पैराग्लाइडर पायलट हिस्सा लेंगे। यूरोपीय संघ और रूस के बीच चल रहे युद्ध गतिरोध के बीच संघ द्वारा खेल तथा वित्तीय संसाधनों पर रूस पर प्रतिबंध की वजह से उन्हें प्रतियोगिता में हिस्सा लेने की मंजूरी नहीं दी गई है।
फिलहाल भारत सहित श्रीलंका, स्पेन, कजाकिस्तान, मैसोडोनिया और नेपाल के पायलटों ने पंजीकरण करवाया है। उन्होंने बताया कि 5 अप्रैल को उद्घाटन समारोह में प्रदेश पर्यटन विकास निगम के उपाध्यक्ष रघुवीर सिंह बाली बतौर मुख्यातिथि शिरकत करेंगे जबकि समापन समारोह में 9 अप्रैल को मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू मुख्यातिथि होंगे।
डोप टैस्ट नहीं होगा
राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय खेल स्पर्धाओं की तरह पैराग्लाइडिंग प्रतियोगिता में कोई डोप टैस्ट नहीं होगा। एसोसिएशन की दलील है। कि साहस और रोमांच के इस खेल में शारीरिक कसरत की आवश्यकता नहीं होती। यह केवल दिमाग और हवा के वेग पर निर्भर करता है। इसलिए डोप टैस्ट की जरूरत नहीं होती।
ईनामों की बौछार
एक्यूरेसी कप के दौरान राऊंड सिस्टम के तहत प्रथम, द्वितीय तथा तृतीय स्थान पर रहने वाले प्रतिभागियों को गोल्ड सिल्वर और ब्रॉन्ज मैडल के अलावा क्रमश: डेढ़ लाख, एक लाख और 75000 रुपए की ईनामी राशि दी जाएगी। इसके अलावा वूमैन कैटेगरी में एक लाख रुपए का ईनाम रखा गया है, जबकि ओवरआल टीम के लिए भी विशेष पुरस्कार रखा गया है।