कोरोना महामारी ने मानव का जीना दुभर किया है तो इसी तरह से लंपी चर्म रोग ने पशुओं को निगलना शुरू कर दिया है। कांगड़ा जिला में 791 नए मामले लंपी के आए हैं, जबकि 2337 पशु लंपी रोग से ग्रस्त हो चुके हैं। आंकड़ा दिनों दिन बढ़ता ही जा रहा है, लेकिन पशुपालन विभाग इसे हलके में ले रहा है। विभाग ने एडवाइजरी तो जारी की है, लेकिन जो जरूरी वैक्सीन लगनी है वह समय पर नहीं लग पा रही है। 26 हजार वैक्सीन डोज की मांग जिला कांगड़ा पशुपालन विभाग की टीम ने की है। लेकिन यह खेप अभी तक विभाग को नहीं मिल पाई है। जिस कारण टीकाकरण अभियान बुरी तरह से प्रभावित हो रही है। अब तक नौ पशुओं की मौत हो चुकी है। 24 घंटे के भीतर 791 नए मामले आना गंभीर है।
पशुओं व जानवरों में लंपी रोग एलएसडी कैप्रीपाक्स से फैलती है। अगर एक पशु में संक्रमण है तो दूसरे में भी हो जाता है। यह बीमारी मक्खी, मच्छर व दूषित चारे के जरिये जल्दी फैलता है। रोग के लक्षण पशुओं को तेज बुखार, त्वचा में सूजन और मोटी-मोटी गांठ, आहार खाने में परेशानी, कमजोरी के साथ दूध उत्पादन में कमी आती है।
शुपालन विभाग के उपनिदेशक कांगड़ा डाक्टर संजीव धीमान ने बताया 24 घंटे के भीतर 791 नए मामले लंपी चर्म रोग के दर्ज किए गए हैं। साथ ही एक पशु की और मौत हुई है। फील्ड स्टाफ को नए मामले ट्रैक करने की हिदायत दी गई है और साथ ही पशुपालकों को जागरूक करने के साथ उन्हें एडवाइजरी का अनुपालन करने को कहा गया है। उम्मीद है कि जल्द ही मांगी गई वैक्सीन उपलब्ध हो जाएगी और टीकाकरण किया जाएगा।