हमीरपुर। जिला के नादौन में बेटे ने चिट्टे के लिए मां के आठ लाख की कीमत के जेवरों को चुराकर फाइनांस कंपनी के पास गिरवी रख दिया। फाइनेंस कंपनी से मिले लाखों के लोन को युवा ने चंद दिनों में ही नशे में उड़ा दिया। चोरी का पर्दाफाश होने के बाद यह चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं। बेटे ने ही घर में चोरी की है यह पता चलने पर मां पुलिस में केस दर्ज करवाने से पीछे हट गई। बेटे पर चोरी का इल्जाम न लगे इसलिए मां ने पुलिस में लिखित शिकायत नहीं दी।
एजुकेशन हब कहे जाने वाले हमीरपुर जिला में नशे के लिए युवाओं के यह कदम समाज के लिए खतरे की घंटी हैं। मां ने पुलिस में चोरी की शिकायत दर्ज नहीं करवाई जिस वजह से पुलिस फाइनांस कंपनी से लाखों के इन आभूषणों को वापस नहीं दिलवा पाई है।
जिला में नशे की जरूरत के लिए घर में जेवरो की चोरी के साथ ही कीमती सामान को बेचने में नशे में संलिप्त युवा गुरेज नहीं कर रहे है। ऐसे भी कईं मामले पिछले दिनों सामने आएं है जहां पर रिपेयर के बहाने नशे की जरूरत पूरा करने के लिए युवाओं ने घर के एसी तक बाजार में बेच दिए। छोटे से लेकर बड़े उपकरण को बाजार में बेचने के बाद भी जब युवाओ के नशे की जरूरतें पूरी नहीं हो रही तो वह पड़ोस और बाजार में चोरियों को अंजाम दे रहे हैं।
चोरियां बढ़ने पर पुलिस के शिकंजे में आया नशेड़ी दोस्तों का ग्रुप
जेवरों की चोरी के अलावा जिला में मुख्यालय में पिछले दिनों जिला पुलिस ने पांच से छह दोस्तों का एक ग्रुप पकड़ा है। यह ग्रुप मिलकर अपने घरों के साथ पड़ोसियों के मकानों में चोरियों को अंजाम दे रहे थे। मुख्यालय में होटलों में इन आरोपियों ने एसी और एलईडी तक को चुरा कर बाजार में बेच दिया था। इस मामले में आरोपियों को गिरफतार कर पुलिस ने अदालत में पेश किया था।
पुलिस रिमांड और न्यायिक हिरासत के बाद अब आरोपी जमानत पर रिहा हो गए हैं। यह आरोपी जेल से तो रिहा है लेकिन नशे की गिरफत में हैं जो अभिभावकों और समाज दोनों के लिए घातक हैं। जिला मुख्यालय में पिछले दिनों एक बुजूर्ग महिला से चेन स्नेचिंग का प्रयास भी बाइक सवार युवक ने किया था और गल्र्ज पीजी में चोरी की वारदात सामने आई थी। अधिकतर चोरियों के मामलों में युवा अधिक संलिप्त पाए जा रहे हैं।
चिट्टे के 15 मामले, चोरियों में अधिकतर युवा संलिप्त
एसपी हमीरपुर आकृति शर्मा ने बताया कि जिला में पिछले एक माह में विभिन्न क्षेत्रों में 15 जगहों पर चिट्टा पकड़ा गया है। चोरियों के अधिकतर मामलों में जिला में युवा संदिग्ध पाए जा रहे हैं जो नशे के दलदल में फंसे हुए हैं। हालात ऐसे है कि नशे के दलदल में फंसे युवा घरों में ही जेवर और सामान की चोरी कर रहे हैं।
एक ऐसा मामला सामने आया है जिसमें एक युवक ने मां के जेवर चुराकर फाइनांस कंपनी के पास गिरवी रख दिए और फाइनांस कंपनी से मिले लाखों रूपये को नशे में उड़ा दिए। उन्होंने अभिभावकों से अपील की है कि बच्चे यदि नशे की गिरफत में तो उन्हें नशा मुक्ति केंद्रों में जरूर ले जाएं। पंचायत प्रतिनिधि और अभिभावक इस बच्चों को नशा मुक्ति केंद्रों तक पहुंचाकर समाज से इस कुरीति खत्म करने में भूमिका निभाएं ताकि युवा वर्ग इस नशे के दलदल से बाहर निकल सके।