धर्मशाला: हिमाचल प्रदेश कांग्रेस कमेटी के सचिव पुनित मल्ली ने केंद्र भाजपा सरकार के बजट को निराशा जनक बनाते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हिमाचल प्रदेश को अपना दूसरा घर बताते हैं, लेकिन हर बार की की भांति इस बार भी केंद्र की बजट से हिमाचल को कुछ नही मिला है। उन्होंने कहा कि हिमाचल प्रदेश में न तो उद्योग क्षेत्र को लेकर बात की गई है और न ही रेल लाइन के विस्तार को लेकर। कांग्रेस सचिव पुनित मल्ली ने कहा कि विगत 8 वर्षों से केंद्रीय बजट में देश के किसान, मजदूर, युवा, बेरोजगार, महिलाओं और आम जनता को कुछ नहीं मिला, राहत केवल चंद पूंजीपति कारपोरेट मित्रों पर केंद्रित रहा है। उन्होंने कहा मोदी सरकार जनकल्याण की योजनाओं के बजट आवंटन में लगातार कटौती कर रही है।
खाद सब्सिडी, खाद्य सब्सिडी और मनरेगा जैसे जनकल्याणकारी मदों में विगत 3 बजट से 25 से 35 परसेंट तक की भारी कटौती लगातार जारी है। अमीरों से लिया जाने वाला वेल्थ टैक्स खत्म कर डीजल पर लगभग 10 गुना सेंट्रल एक्साइज बढ़ाना मंहगाई का सबसे बड़ा कारण है। उन्होंने कहा कि रेपो दर चालू वित्त वर्ष में ही 5 बार बढ़ाए गए, लोन पर ब्याज दरें बढ़ गई लेकीन महंगाई नियंत्रण से बाहर है।
शिक्षा, स्वास्थ्य और परिवार कल्याण, गैस सब्सिडी जैसे समाज कल्याण के कार्यक्रमों में बजटीय आवंटन लगातार घटाए जा रहे हैं। यही कारण है कि पूंजीवादी नीतियों के चलते मोदी राज में असमानता दिनों-दिन बढ़ रही है। मोदी के चंद मित्र हर मिनट ढाई करोड़ से अधिक कमा रहे हैं, जबकि आम जनता की आय लगातार घट रही है।
पुनीत मल्ली ने कहा कि नरेंद्र मोदी के राज में महंगाई कम तो नहीं हुई और बढ़ गयी है। महंगाई से देश के नागरिको की कमर टूटती जा रही है। 2014 में जो गैस का सिलेंडर 410 रू. का था, आज वह 1150 रू. के पार है। पेट्रोल के दाम 70 रू. प्रति लीटर से बढ़कर 100 रू. प्रति लीटर के पार हो गये है, जबकि डीजल के दाम 55 रू. प्रति लीटर से बढ़कर 90 रू. प्रति लीटर के करीब पहुंच गये है। खाने के तेल और दाल की कीमत 70 रू. और 60 रू. प्रति किलो थी, वह 200 रू. प्रति किलो को पार कर गई है।